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केजरीवाल से अखिलेश यादव तक, सामाजिक मुद्दों पर बनी फिल्म देखने क्यों जुटे कई बड़े नेता

दिल्ली में सोमवार को एक अलग ही राजनीतिक और सामाजिक माहौल देखने को मिला, जब फिल्म ‘पारो पिनाकी की कहानी’ की विशेष स्क्रीनिंग में देश के कई बड़े विपक्षी नेता एक साथ नजर आए। आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव, कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी समेत कई प्रमुख नेताओं ने इस फिल्म को देखा और इसके विषयवस्तु की सराहना की। आम तौर पर राजनीतिक मंचों पर आमने-सामने रहने वाले ये नेता इस बार एक सामाजिक मुद्दे पर बनी फिल्म के समर्थन में एकजुट दिखाई दिए।
इस फिल्म की स्क्रीनिंग में विपक्षी नेताओं की मौजूदगी को लेकर राजनीतिक गलियारों में काफी चर्चा रही। दरअसल, ‘पारो पिनाकी की कहानी’ आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह की बेटी इशिता सिंह की फिल्म है। इशिता सिंह न सिर्फ एक अभिनेत्री हैं, बल्कि सामाजिक और राजनीतिक मुद्दों पर मुखर रूप से अपनी राय रखने के लिए भी जानी जाती हैं। संजय सिंह को विपक्ष के कद्दावर नेताओं में गिना जाता है और यही वजह है कि उनकी बेटी की फिल्म की स्क्रीनिंग में विभिन्न विपक्षी दलों के बड़े चेहरे शामिल हुए।
इशिता सिंह इससे पहले भी फिल्म ‘मुल्क’ में अपने अभिनय से पहचान बना चुकी हैं। इसके अलावा वह कई राजनीतिक कार्यक्रमों में भी सक्रिय रहती हैं। उत्तर प्रदेश में हुए कुछ चुनावी और राजनीतिक कार्यक्रमों में उन्हें अपने पिता संजय सिंह के समर्थन में मंच से जोरदार भाषण देते हुए देखा गया है। उनके भाषणों में वही आक्रामकता और बेबाकी नजर आती है, जिसके लिए संजय सिंह जाने जाते हैं। यही कारण है कि इशिता न सिर्फ एक अभिनेत्री के रूप में बल्कि एक जागरूक युवा चेहरे के तौर पर भी चर्चा में रहती हैं।
फिल्म देखने के बाद अरविंद केजरीवाल ने ‘पारो पिनाकी की कहानी’ को बेहद महत्वपूर्ण बताया। उन्होंने कहा कि यह फिल्म दो ऐसे मुद्दों को उठाती है, जिन पर आज भी समाज में खुलकर बात नहीं होती। केजरीवाल के अनुसार, 21वीं सदी में भी देश के कुछ हिस्सों में लोगों को नालों और सीवर की सफाई के लिए अंदर उतारा जाता है, जहां कई बार उनकी जान तक चली जाती है। इसके साथ ही फिल्म में लड़कियों की खरीद-फरोख्त जैसे गंभीर सामाजिक मुद्दे को भी दिखाया गया है। उन्होंने फिल्म के निर्देशक और कलाकारों को इस साहसिक विषय को पर्दे पर लाने के लिए बधाई दी।
समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी फिल्म की तारीफ करते हुए कहा कि यह ऐसी सच्चाई दिखाती है, जिसे कोई छूना नहीं चाहता। उन्होंने कहा कि फिल्म यह बताती है कि किन कठिन और अमानवीय परिस्थितियों में कुछ लोगों को काम करना पड़ता है। न तो उनके पास आधुनिक उपकरण होते हैं और न ही उन्हें समाज में सम्मान मिलता है। कई बार ऐसे कामों में लोगों की जान तक चली जाती है, लेकिन उनकी पीड़ा पर कोई ध्यान नहीं देता। अखिलेश यादव ने उम्मीद जताई कि यह फिल्म समाज को सोचने पर मजबूर करेगी और इसके जरिए लोगों तक एक मजबूत संदेश पहुंचेगा।
स्क्रीनिंग के मौके पर अखिलेश यादव ने सत्ताधारी भाजपा पर भी निशाना साधा और कहा कि सरकार को ऐसे मुद्दों पर गंभीरता से ध्यान देना चाहिए। कुल मिलाकर, ‘पारो पिनाकी की कहानी’ की स्क्रीनिंग सिर्फ एक फिल्मी कार्यक्रम नहीं रही, बल्कि यह सामाजिक सरोकारों और राजनीतिक संदेशों का साझा मंच बन गई, जहां कला के जरिए समाज की सच्चाइयों को सामने रखने की कोशिश की गई।




