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Harbhajan Singh : ने कहा गौतम गंभीर की कोचिंग काफी नहीं जीत के लिए ! कोचिंग में भज्जी ने की बड़े बदलाव की मांग,जानें क्या-क्या ..

Aryan
20 July 2025 8:22 PM IST
Harbhajan Singh : ने कहा गौतम गंभीर की कोचिंग काफी नहीं जीत के लिए ! कोचिंग में भज्जी ने की बड़े बदलाव की मांग,जानें क्या-क्या ..
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भज्जी ने की बड़े बदलाव की मांग,

नई दिल्ली। वर्तमान में भारतीय क्रिकेट टीम इंग्‍लैंड के दौरे पर है। इस दौरान दोनों टीमों के बीच 5 मैचों की टेस्‍ट सीरीज खेली जा रही है। जिसमें टीम इंडिया अभी 1-2 से पीछे चल रही है। लेकिन भारतीय टीम गौतम गंभीर की कोचिंग में टेस्‍ट सीरीज के दौरान कुछ खास कमाल नहीं दिखा पाई है।

हरभजन सिंह ने कोचिंग का विकल्‍प दिया

पूर्व भारतीय क्रिकेटर हरभजन सिंह ने कहा है कि भारत को टेस्‍ट और वनडे-टी20 क्रिकेट के लिए अलग-अलग कोचिंग के विकल्प पर भी गौर करना चाहिए। आपको बता दें गौतम गंभीर ने 2024 के टी20 विश्व कप के बाद भारत के कोच का पद संभाला था। गौतम के कार्यकाल में भारतीय टीम ने वनडे और टी20 इंटरनेशनल मैचों में शानदार प्रदर्शन किया। गंभीर की कोचिंग में भारत ने चैंपियंस ट्रॉफी जीती है।

गंभीर की कोचिंग में खेले गए मैचों का रिकार्ड

गंभीर की कोचिंग में भारतीय टीम ने 13 टी20 इंटरनेशनल के मुकाबले जीते हैं। 2 मुकाबले में टीम को हार का सामना करना पड़ा। इस दौरान भारतीय टीम की टक्‍कर श्रीलंका, दक्षिण अफ्रीका, बांग्लादेश एवं इंग्लैंड से हुई। वनडे में भारत ने 11 मैचों में 8 जीत हासिल की, 2 में हार और 1 में टाई का रिकॉर्ड बनाया।टेस्‍ट क्रिकेट की बात करें तो गंभीर का रिकॉर्ड बहुत अच्छा नहीं रहा है। बांग्लादेश को हराने के बाद भारत को न्यूजीलैंड ने घरेलू मैदान पर क्‍लीन स्‍वीप किया।बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में भारत को ऑस्ट्रेलिया से 1-3 से हार का सामना करना पड़ा।

क्रिकेट में अलग-अलग कोचों का इस्तेमाल करना गलत नहीं है

सूत्रों के मुताबिक हरभजन ने कहा कि लाल गेंद और सफेद गेंद वाले क्रिकेट में अलग-अलग कोचों का इस्तेमाल करना गलत नहीं है, क्योंकि खिलाड़ी और टीमें अलग-अलग होती हैं। वहीं पूर्व स्पिनर ने कहा कि इस विकल्प से कोच समेत सब पर काम का दबाब कम होगा। आपके पास अलग-अलग फॉर्मेट के लिए अलग-अलग टीमें और अलग-अलग खिलाड़ी होते हैं। अगर हम इन चीजों पर गौर करें सकते हैं, तो यह एक अच्छा विकल्प है।

परिवार के साथ लगातार ट्रेवल करना आसान नहीं,

जैसे ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पांच टेस्ट खेलना, फिर इंग्लैंड में खेलना फिर कहीं और जाना। इसलिए कोच तैयारी का वक्त मिल जायेगा कि उसकी टीम कैसी होनी चाहिए। हरभजन ने कहा कि अगर आप एक कोच पर ही पूरे साल अधिक काम का दबाब डालेंगे तो सही नहीं । उसकी पारिवारिक जिम्‍मेदारियां भी होंगी।

परिवार के साथ लगातार ट्रेवल करना आसान नहीं होता है। इसलिए, अगर आप मुझसे पूछें तो लाल गेंद और सफेद गेंद की कोचिंग को अलग-अलग करना एक अच्छा विकल्‍प होगा।

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