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व्रत के दौरान आप भी तो नहीं खा रहे बहुत अधिक मीठा, तो जान लें इसके स्वास्थ्य संबंधी नुकसान

नई दिल्ली। व्रत में अधिक मीठा खाने से कई तरह के स्वास्थ्य संबंधी नुकसान हो सकते हैं। उपवास का उद्देश्य शरीर को शुद्ध करना और पाचन तंत्र को आराम देना होता है, लेकिन अधिक मीठा खाने से यह उद्देश्य प्रभावित हो सकता है। व्रत के दौरान अत्यधिक मीठा खाने से ब्लड शुगर लेवल बढ़ सकता है, जिससे चक्कर और कमजोरी महसूस हो सकती है, खासकर अगर आप पहले से मधुमेह से पीड़ित हैं तो यह और भी हानिकारक है। यह शरीर में ऊर्जा की कमी का कारण भी बन सकता है, क्योंकि मीठी चीजों को पचाने में पाचन तंत्र को अधिक समय लगता है।
व्रत में अधिक मीठा खाने के कुछ मुख्य नुकसान
1. रक्त शर्करा (ब्लड शुगर) का बढ़ना- व्रत में खाली पेट होने पर अधिक मीठा खाने से ब्लड शुगर का स्तर तेजी से बढ़ सकता है। यह उन लोगों के लिए विशेष रूप से हानिकारक है, जिन्हें मधुमेह (डायबिटीज) की समस्या है।
2. पाचन संबंधी समस्याएं- व्रत के दौरान हल्का और कम मसालेदार खाना खाया जाता है। ऐसे में अचानक ज्यादा मीठा या शक्कर वाली चीजें खाने से गैस, कब्ज या पेट फूलने जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
3. वजन बढ़ना- ज्यादा शक्कर खाने से शरीर में अनावश्यक कैलोरी बढ़ती है, जिससे वजन बढ़ सकता है और मोटापा भी हो सकता है। व्रत के दौरान बहुत से लोग फलहार के नाम पर मीठे पकवान जैसे साबूदाने की खीर, शकरकंदी की चाट, या मिठाइयां खाते हैं, जो वजन बढ़ाने का कारण बन सकता है।
4. ऊर्जा में अचानक गिरावट- मीठा खाने से शरीर में ऊर्जा का स्तर अचानक बढ़ जाता है और फिर तेज़ी से गिर भी जाता है। इससे थकान, सुस्ती और चिड़चिड़ापन महसूस हो सकता है।
5. ज्यादा खाने की लत- कुछ लोगों को मीठे की लत लग जाती है, जो स्वास्थ्य के लिए ठीक नहीं है। इससे शरीर में शक्कर की मात्रा बढ़ जाती है और कई बीमारियाँ हो सकती हैं।
6. त्वचा पर असर- अधिक मीठा खाने से समय से पहले एजिंग (बुढ़ापा) के लक्षण, जैसे झुर्रियां, दिख सकते हैं। यह त्वचा की इलास्टिसिटी को कम कर देता है।
व्रत के दौरान क्या करें?
फलों का सीमित सेवन- फलों में प्राकृतिक मिठास होती है जो शरीर को ऊर्जा देती है, लेकिन इनका भी अधिक सेवन नहीं करना चाहिए।
मीठे की जगह अन्य विकल्प- अगर आपको मिठाई की लत है तो कुट्टू के आटे की मिठाई या सूजी और बेसन से बनी मिठाई के बजाय घर की बनी खीर और हलवा जैसे विकल्प चुन सकते हैं।
पर्याप्त पानी पिएं- व्रत के दौरान शरीर को हाइड्रेटेड रखने के लिए पर्याप्त पानी पीना बहुत ज़रूरी है।
संतुलित आहार- फलाहार में भी संतुलित मात्रा में फल, दूध, मेवे और अन्य सात्त्विक चीजों को शामिल करें ताकि शरीर को आवश्यक ऊर्जा और पोषक तत्व मिल सकें।