होशियारपुर टैंकर ब्लास्ट: सात मौतों के बाद उजागर हुआ एलपीजी सिफोनिंग रैकेट, चार गिरफ्तार

दरअसल, शुक्रवार रात एक एलपीजी टैंकर मंडियाला अड्डा, होशियारपुर–जालंधर रोड पर एक पिकअप वाहन से टकरा गया। टकराने के बाद आग लग गई और जोरदार धमाके में 15 से ज्यादा दुकानें और कई घर जलकर खाक हो गए।;

By :  DeskNoida
Update: 2025-08-24 16:21 GMT

होशियारपुर के मंडियाला इलाके में शुक्रवार रात हुए भीषण गैस टैंकर ब्लास्ट मामले में बड़ा खुलासा हुआ है। इस घटना की जांच के दौरान पुलिस ने एलपीजी सिफोनिंग (गैस चुराने) का बड़ा रैकेट पकड़ा है और चार लोगों को गिरफ्तार किया है। इस ब्लास्ट में अब तक सात लोगों की मौत हो चुकी है और 13 लोग अभी भी इलाजरत हैं।

दरअसल, शुक्रवार रात एक एलपीजी टैंकर मंडियाला अड्डा, होशियारपुर–जालंधर रोड पर एक पिकअप वाहन से टकरा गया। टकराने के बाद आग लग गई और जोरदार धमाके में 15 से ज्यादा दुकानें और कई घर जलकर खाक हो गए। हादसे में टैंकर चालक सुखजीत सिंह समेत दो लोगों की मौके पर मौत हो गई थी, लेकिन बाद में मौतों का आंकड़ा बढ़कर सात हो गया।

होशियारपुर के एसएसपी संदीप कुमार मलिक ने बताया कि जांच में सामने आया कि टैंकर चालक सुखजीत सिंह टैंकर को सीधे राम नगर धीहा निवासी सुखचैन सिंह उर्फ सुखा के घर ले जा रहा था। सुखा अपने डेरे से अवैध गैस सिफोनिंग का धंधा चला रहा था। पुलिस ने शनिवार को सुखा को गिरफ्तार किया और उसके डेरे से 10 गैस सिलेंडर और पाइप जब्त किए। पूछताछ में उसने स्वीकार किया कि वह हर टैंकर से 4-5 सिलेंडर निकालकर उन्हें 1,200–1,300 रुपये में बेचता था और चालकों को 1,000 रुपये प्रति सिलेंडर कमीशन देता था।

पुलिस ने तीन अन्य आरोपियों को भी गिरफ्तार किया है — अवतार सिंह उर्फ मती (जंडी गांव, होशियारपुर), रमेश कुमार और राज कुमार (लम्मा पिंड, जालंधर)। मंडियाला के पास बने इनके गोदाम से 40 सिलेंडर, नौ खाली तेल ड्रम और पाइप बरामद हुए हैं। पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता, आवश्यक वस्तु अधिनियम और एलपीजी सप्लाई एवं नियंत्रण आदेश के तहत केस दर्ज किया है।

डीसी आशीका जैन ने बताया कि हादसे की मजिस्ट्रियल जांच के आदेश दिए गए हैं और रिपोर्ट 15 दिनों में पेश करनी होगी। इसके अलावा, गैस सिफोनिंग रोकने के लिए सतर्कता समिति, खतरनाक सामग्री ढोने वाले वाहनों की पार्किंग रेगुलेशन कमेटी और पुनर्वास समिति बनाई गई है।

हादसे के बाद रविवार को गांव के लोगों ने मुआवजे की मांग को लेकर होशियारपुर–जालंधर रोड पर दो घंटे का धरना दिया। ग्रामीणों का कहना था कि अमृतसर शराब कांड में मृतकों के परिवारों को 10 लाख रुपये दिए गए थे, जबकि मंडियाला पीड़ितों को सिर्फ 2 लाख रुपये की घोषणा हुई थी।

मंत्री रवजोत सिंह मौके पर पहुंचे और घोषणा की कि मृतकों के परिजनों को 10 लाख रुपये, घायलों को 5 लाख रुपये और संपत्ति नुकसान का पूरा मुआवजा दिया जाएगा। आश्वासन के बाद ग्रामीणों ने धरना समाप्त किया और सड़क से जाम हटा लिया।

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