जासूसी के झूठे आरोप में मुंबई की महिला से 22 लाख की साइबर ठगी
महिला को इस महीने की शुरुआत में तीन अनजान नंबरों से फोन आए। फोन करने वाले ने खुद को "दिल्ली एटीएस अधिकारी प्रेम कुमार गुप्ता" बताया और कहा कि वह "जम्मू-कश्मीर बॉर्डर पुलिस स्टेशन" में तैनात है।;
मुंबई के गिरगांव इलाके में रहने वाली 64 वर्षीय महिला को साइबर ठगों ने खुद को दिल्ली एटीएस और जम्मू-कश्मीर पुलिस का अधिकारी बताकर जासूसी के झूठे आरोप में डरा-धमका कर 22 लाख रुपये की ठगी कर ली।
पुलिस अधिकारियों के मुताबिक, यह मुंबई में पहला मामला है जिसमें किसी को जासूसी के बहाने से ठगा गया है।
महिला को इस महीने की शुरुआत में तीन अनजान नंबरों से फोन आए। फोन करने वाले ने खुद को "दिल्ली एटीएस अधिकारी प्रेम कुमार गुप्ता" बताया और कहा कि वह "जम्मू-कश्मीर बॉर्डर पुलिस स्टेशन" में तैनात है।
उसने महिला से कहा कि उस पर पाकिस्तान के साथ संवेदनशील जानकारी साझा करने का आरोप है और उसके खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। उसने यह भी कहा कि अगर वह सहयोग नहीं करती तो उसे दस साल की सजा और 50 लाख रुपये का जुर्माना हो सकता है।
ठग ने अपनी पहचान प्रमाणित करने के लिए महिला को एक आईडी कार्ड की तस्वीर भी भेजी। डर के कारण महिला ने 5 से 10 जून के बीच विभिन्न खातों में कुल 22.4 लाख रुपये जमा कर दिए।
रकम जमा करने के बाद महिला को ठगों के फोन आने बंद हो गए और तब जाकर उसे समझ में आया कि उसके साथ धोखाधड़ी हुई है।
13 जून को महिला ने साउथ रीजन साइबर पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई। इस पर अज्ञात व्यक्तियों के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता और सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम की धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।