भारत पर 100% टैरिफ की मांग, मोदी-पुतिन-शी की दोस्ती से ट्रंप बेचैन

एक रिपोर्ट के अनुसार, ट्रंप ने यह मांग मंगलवार को वॉशिंगटन में यूरोपीय संघ के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक के दौरान रखी। इस बैठक का उद्देश्य रूस-यूक्रेन युद्ध की आर्थिक लागत को और बढ़ाने पर चर्चा करना था।;

By :  DeskNoida
Update: 2025-09-10 17:50 GMT

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भारत और चीन पर 100 प्रतिशत टैरिफ लगाने की अपील कर अंतरराष्ट्रीय राजनीति में हलचल मचा दी है। ट्रंप ने यह मांग यूरोपीय यूनियन से की है। उनका कहना है कि भारत और चीन पर अतिरिक्त शुल्क लगाकर मॉस्को पर आर्थिक दबाव बढ़ाया जा सकता है।

एक रिपोर्ट के अनुसार, ट्रंप ने यह मांग मंगलवार को वॉशिंगटन में यूरोपीय संघ के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक के दौरान रखी। इस बैठक का उद्देश्य रूस-यूक्रेन युद्ध की आर्थिक लागत को और बढ़ाने पर चर्चा करना था।

भारत पर बढ़ रहा दबाव

ट्रंप का यह नया पैंतरा भारत पर रूसी तेल न खरीदने का दबाव बनाने का हिस्सा माना जा रहा है। पहले ही अमेरिका ने भारत पर 50 प्रतिशत टैरिफ लगाया था और अब ट्रंप यूरोप से भी 100% शुल्क लगाने की अपील कर रहे हैं।

दिलचस्प बात यह है कि यह बयान ट्रंप ने ऐसे समय पर दिया, जब कुछ ही घंटे पहले उन्होंने भारत और अमेरिका के बीच व्यापारिक सहयोग को आगे बढ़ाने की बात की थी।

मोदी-पुतिन-शी की मुलाकात से ट्रंप की बेचैनी

हाल ही में एससीओ समिट में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की मुलाकात हुई थी। इस त्रिकोणीय मुलाकात के बाद अमेरिका और खासकर ट्रंप की बेचैनी और बढ़ गई है। ट्रंप का मानना है कि भारत और रूस की करीबी से अमेरिका की रणनीति को नुकसान हो रहा है।

रूस से तेल आयात में भारत का झुकाव

फरवरी 2022 में रूस-यूक्रेन युद्ध शुरू होने के बाद पश्चिमी देशों ने रूस पर कड़े प्रतिबंध लगाए और तेल आपूर्ति सीमित कर दी। इसके बाद भारत ने छूट पर रूसी तेल की खरीद शुरू की।

वर्ष 2019-20 में भारत के कुल तेल आयात में रूस की हिस्सेदारी केवल 1.7% थी।

वर्ष 2024-25 तक यह बढ़कर 35.1% हो गई।

वर्तमान में रूस भारत का सबसे बड़ा तेल आपूर्तिकर्ता है।

ट्रंप की नई कोशिशें

रिपोर्ट के अनुसार, यूक्रेन संघर्ष को समाप्त करने के लिए ट्रंप हाल ही में नई कोशिशें कर रहे हैं। पिछले महीने उन्होंने अलास्का में रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से मुलाकात की थी। हालांकि, भारत और रूस के बढ़ते ऊर्जा संबंध ट्रंप की इन रणनीतियों के लिए चुनौती बने हुए हैं।

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