एक साल में ग्रेच्युटी, ओवरटाइम पर दोगुना पेमेंट: नए लेबर कोड में बड़े बदलाव

इन नए कोड में मजदूरी संहिता-2019, औद्योगिक संबंध संहिता-2020, सामाजिक सुरक्षा संहिता-2020 और व्यावसायिक सुरक्षा, स्वास्थ्य और कार्य शर्तें संहिता-2020 शामिल हैं। नए नियमों से कर्मचारियों को कई महत्वपूर्ण लाभ मिलने वाले हैं।;

By :  DeskNoida
Update: 2025-11-21 17:20 GMT

देश के श्रम कानूनों में बड़े बदलाव करते हुए केंद्र सरकार ने चार नए लेबर कोड को नोटिफाई कर दिया है। यह बदलाव भारत के श्रमिकों, कर्मचारियों और उद्योग क्षेत्र के लिए ऐतिहासिक माना जा रहा है। इन नए कोड में मजदूरी संहिता-2019, औद्योगिक संबंध संहिता-2020, सामाजिक सुरक्षा संहिता-2020 और व्यावसायिक सुरक्षा, स्वास्थ्य और कार्य शर्तें संहिता-2020 शामिल हैं। नए नियमों से कर्मचारियों को कई महत्वपूर्ण लाभ मिलने वाले हैं।

मजदूरी संहिता 2019 के तहत अब संगठित के साथ असंगठित क्षेत्र के सभी कर्मचारियों को न्यूनतम मजदूरी का वैधानिक अधिकार मिलेगा। सरकार एक फ्लोर वेज तय करेगी, जिससे कम कोई राज्य न्यूनतम मजदूरी तय नहीं कर सकेगा। इसके अलावा समान कार्य के लिए लिंग के आधार पर भेदभाव नहीं किया जाएगा। सबसे बड़ा बदलाव यह है कि अब ओवरटाइम का भुगतान सामान्य वेतन की तुलना में दोगुना होगा।

औद्योगिक संबंध संहिता 2020 के तहत अब निश्चित अवधि के रोजगार वाले कर्मचारी केवल एक वर्ष की नौकरी के बाद ग्रेच्युटी पाने के पात्र होंगे। पहले यह अवधि 5 वर्ष थी। साथ ही वर्क फ्रॉम होम के लिए कानूनी ढांचा भी उपलब्ध कराया गया है।

सामाजिक सुरक्षा संहिता 2020 में ईएसआईसी और ईपीएफओ की सुविधाओं का विस्तार देशभर में किया जाएगा। छोटे प्रतिष्ठान भी आपसी सहमति से इन योजनाओं में शामिल हो सकेंगे। असंगठित और गिग वर्कर्स के लिए भी सामाजिक सुरक्षा फंड बनाया जाएगा।

व्यावसायिक सुरक्षा संहिता 2020 में महिलाओं को रात में भी काम करने की अनुमति दी गई है, लेकिन सुरक्षा व्यवस्था अनिवार्य होगी। इसके अलावा कर्मचारियों को साल में एक बार मुफ्त स्वास्थ्य जांच मिलेगी और काम के घंटे 8 घंटे प्रतिदिन और 48 घंटे सप्ताह तय किए गए हैं।

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