आज़म ख़ान को मिली ‘Y’ श्रेणी सुरक्षा पर बढ़ा विवाद, शासन ने शुरू की समीक्षा
सुरक्षा बहाल होने की खबर सामने आने के बाद उनके विरोधियों ने इस फैसले पर सवाल उठाने शुरू कर दिए हैं। मामला अब शासन स्तर तक पहुंच चुका है, और सरकार ने उनकी सुरक्षा की समीक्षा प्रक्रिया शुरू कर दी है।;
समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता और पूर्व कैबिनेट मंत्री आज़म ख़ान को मिली ‘Y’ श्रेणी की सुरक्षा एक बार फिर विवादों में आ गई है। सुरक्षा बहाल होने की खबर सामने आने के बाद उनके विरोधियों ने इस फैसले पर सवाल उठाने शुरू कर दिए हैं। मामला अब शासन स्तर तक पहुंच चुका है, और सरकार ने उनकी सुरक्षा की समीक्षा प्रक्रिया शुरू कर दी है।
रामपुर पुलिस प्रशासन के मुताबिक, सुरक्षा को लेकर अंतिम निर्णय शासन स्तर से ही लिया जाएगा।
गौरतलब है कि कोर्ट से दोषी ठहराए जाने के बाद आजम खान की विधानसभा सदस्यता समाप्त हो गई थी, जिसके चलते उनकी सुरक्षा वापस ले ली गई थी। लेकिन जेल से बाहर आने के बाद उनके घर पर लगातार लोगों की आवाजाही बढ़ने पर प्रशासन ने उनकी सुरक्षा दोबारा बहाल कर दी।
जेल से रिहाई के बाद बढ़ी सुरक्षा जरूरत
करीब 23 महीने जेल में रहने के बाद आजम खान हाल ही में जमानत पर रिहा हुए हैं। रिहाई के बाद रामपुर में उनके घर पर समर्थकों और शुभचिंतकों का तांता लगा हुआ है। इस भीड़ को देखते हुए स्थानीय पुलिस ने उनके लिए ‘वाई’ श्रेणी की सुरक्षा फिर से लागू की थी।
हालांकि, सुरक्षा बहाली के तुरंत बाद विपक्षी नेताओं ने इसे लेकर सवाल उठाए हैं। सूत्रों के अनुसार, इस फैसले की जानकारी शासन तक पहुंचते ही सरकारी स्तर पर समीक्षा शुरू कर दी गई है, और अब इस पर आगे का फैसला लखनऊ से ही होगा।
आज़म और अब्दुल्ला पर चल रहे केस की अंतिम बहस
रामपुर में सपा के पूर्व विधायक अब्दुल्ला आजम और उनके पिता आजम खान के खिलाफ दर्ज दो पैन कार्ड मामले में मंगलवार को अंतिम बहस निर्धारित की गई है। यह मामला वर्ष 2019 में भाजपा नेता और मौजूदा विधायक आकाश सक्सेना की शिकायत पर दर्ज हुआ था।
शिकायत के अनुसार, अब्दुल्ला आजम ने दो अलग-अलग जन्मतिथियों के आधार पर दो पैन कार्ड बनवाए और दोनों का अलग-अलग उपयोग किया। यह मामला फिलहाल एमपी-एमएलए कोर्ट में विचाराधीन है। सोमवार को बहस नहीं हो सकी थी, जिसके बाद कोर्ट ने 14 अक्टूबर की तारीख अंतिम बहस के लिए तय की है।
पासपोर्ट और अन्य मामलों में भी सुनवाई स्थगित
अब्दुल्ला आजम के दो पासपोर्ट से जुड़े मामलों में अदालत ने अगली सुनवाई की तारीख 27 अक्टूबर तय की है। वहीं, अमर सिंह द्वारा दर्ज कराए गए मुकदमे में भी सुनवाई अब 17 अक्टूबर को होगी। इसके अलावा भोट थाने में दर्ज विवादित बयान के मामले की सुनवाई भी 17 अक्टूबर को निर्धारित की गई है।
इन मामलों को लेकर आजम खान और उनके बेटे अब्दुल्ला लगातार कानूनी मुश्किलों में घिरे हुए हैं, जबकि सपा कार्यकर्ता इसको “राजनीतिक प्रतिशोध” करार दे रहे हैं।